रतन टाटा जो की भारत के एक बेहतरीन बिज़नेस मन और बहुत ही नम्र स्वाभाव के व्यक्ति है.१९९१ में उन्होंने टाटा समूह का प्रभार संभाला और फिर देखते ही देखते उन्होंने इसे दुनिया के सबसे बड़े समूह में बदल दिया.
.रतन टाटा का जन्म २८ दिसंबर १९३७ को एक बहुत ही समृद्ध परिवार में हुआ,और उनके जन्म के कुछ ही सालो बाद उनके माता पिता एक दूसरे से अलग हुए,और फिर रतन टाटा और उनके भाई जिमी की परवरिश उनकी दादी ने की.
रतन टाटा के पिता नवल टाटा ,रतनजी टाटा और उनकी पत्नी नवजबाई टाटा की गोद ली हुई संतान थी.
रतन टाटा को कुत्तो से बहुत लगाव है,और उनके पास दो कुत्ते भी है,जिनके नाम मैक्सिमस और टीटो है.
रतन टाटा ने आर्किटेक्चर विथ स्ट्रक्चरल इंजीनियरिंग में कॉर्नेल यूनिवर्सिटी से और,एडवांस्ड मैनेजमेंट प्रोग्राम की डिग्री हार्वर्ड बिज़नेस स्कूल से ली है.
१९६१ में रतन टाटा को सॉफ्टवेयर कंपनी IBM से जॉब के लिए ऑफर भी मिला था,लेकिन उन्होंने उसे ठुकराते हुए,फॅमिली बिज़नेस को जॉइंट करना उचित समजा.और फिर तभी से वो टाटा स्टील में एक as a वर्कर काम करने लगे.और टाटा स्टील में वो ब्लास्ट फर्नेस को हैंडल करने का काम करते थे.
आज टाटा ग्रुप की लगभग ९६ अलग अलग बिज़नेस है,और उसमे से २८ तो अलग अलग स्टॉक एक्सचेंज में लिस्टेड है.और इन में से बहुत सारी कम्पनिया तो रतन टाटा के चैयरमेन बनने के बाद शुरू हुई थी.
रतन टाटा एक ट्रेनेड पायलट है,और ८ फेब्रुवारी २००७ को वो पहले ऐसे भारतीय व्यक्ति बने,जिसने F -१६ नाम का फाइटर प्लेन उड़ाया.
आज टाटा ग्रुप को एक ब्रांड की तरह जाना जाता है,रतन टाटा के लीडरशिप के अंडर टाटा ग्रुप ने जगवार ,लैंड रोवर,कोरस और टेटली जैसी बड़ी बड़ी कम्पनिया खरीद ली.
रतन टाटा का एक सपना था की,वो दुनिया की सबसे सस्ती कार बनाना चाहते थे,इसलिए उन्होंने साल २००८ में टाटा नैनो लॉच की,जिसकी कीमत सिर्फ एक लाख रूपए थी.
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